Tuesday, April 6, 2010

मैं दीवाना अब कैसे ठहर जाँउ

तेरी दुनिया का मैं इक सरफरोशी

मैं मतवाला अब कैसे रुक जाँउ

तेरे बन्दो को समझा मेरे मोला

मैं दीवाना अब कैसे ठहर जाँउ

-- नरेन्द्र सिसोदिया "साहिल"

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